"वे सभी लोग मर चुके हैं।"
जैसे ही लव और इंद्रजीत ने ये सुना तो वे दोनों अचंभित रह गए। उन्होंने एक दूसरे को देखा।
"तुम्हारा मतलब क्या है?" इंद्रजीत ने अत्यंत आश्चर्य और भय से उसकी ओर देखते हुए पूछा।
युवा लड़के ने आह भरी और इंद्रजीत की ओर देखा, "जिन लोगों को आपने बाज़ार में देखा वे सभी मर चुके हैं। वे सिर्फ शव हैं। और कुछ नहीं।"
"ये आप क्या कह रहे हैं?' लव ने हैरान होकर कहा।
"जैसा कि आप बता सकते हैं, यह जगह अब शापित हो चुकी है। जिस चुड़ैल के बारे में आपने पूछा था उसने सब कुछ खत्म कर दिया है।" यह कहते हुए, लड़का अपने घुटनों के बल नीचे गिर गया। उसके चेहरे पर कोई भाव नहीं था किंतु फिर भी ऐसा लग रहा था जैसे वह जोर-जोर से रो रहा हो।
इंद्रजीत ने झुककर उसकी पीठ पर हाथ रखते हुए उसकी हिम्मत बढ़ाने का प्रयास किया, "अभी भी समय है। हम यहां आपकी मदद के लिए आए हैं। जैसा कि मैंने कहा। आपके पास जो भी जानकारी है, उससे हमें अवगत कराएं और आपकी सुरक्षा का ध्यान हम रखेंगे।"
लड़के ने हाँ में सिर हिलाया, "मैं सब कुछ बताऊंगा, किंतु पहले मेरे साथ आओ। मैं आपको कुछ दिखाना चाहता हूं।" वह चुपचाप खड़ा हो गया और चलने लगा। उसका भागने का इरादा नहीं लग रहा था। इसलिए लव और इंद्रजीत उसके पीछे चले गए।
वे बाज़ार से गुज़र रहे थे और उन्होंने मृत लोगों को लकड़ी की कुर्सियों पर बैठे देखा जैसे कि वे जीवित हों, "कोई आश्चर्य नहीं कि ये जीवित लग रहे थे।" लव ने इंद्रजीत से फुसफुसाकर कहा।
तभी इंद्रजीत को एहसास हुआ कि मधु और अर्जुन अब वहां नहीं हैं, "वे कहां गए होंगे?" उसने सोचा। वे कहीं नजर नहीं आये। इससे वह चिंतित हो गया।
"तो, आप एक राजकुमार हैं?" जब वे चल रहे थे तो युवा लड़के ने पूछा।
इंद्रजीत ने उत्तर दिया, "मैं स्वर्णलोक का युवराज हूं।"
इससे युवा लड़के को आश्चर्य हुआ, "स्वर्णलोक??" वह पलटा, "सत्य?" उसने पूछा।
"क्यों? तुम्हें शक है?" लव ने पूछा.
"नहीं, आप युवराज तो प्रतीत होते हैं।" वह मुड़ा और चलना जारी रखा, "मुझे बस आश्चर्य है कि स्वर्णलोक ने स्वयं हमारी मदद के लिए अपने राजकुमार को भेजा।"
"इसमें आश्चर्यचकित होने वाली क्या बात है?" लव ने पूछा।
युवा लड़के ने हँसते हुए कहा, "तुम सच में नहीं जानते? स्वर्णलोक वर्षों पहले हमारे अस्तित्व को कभी पचा नहीं पाया। अचानक, हमारी मदद करने लगे? मुझे आश्चर्य है कि क्यों?" उसने कहा।
"जो कुछ हुआ वह अतीत है। हमें वर्तमान और भविष्य पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए।" इंद्रजीत ने उत्तर दिया.
"क्या? ऐसी कोई बात थी? किन्तु जगतपुर तो स्वर्णलोक का ही हिस्सा हैं ना।" लव ने कहा।
जवान लड़का घूम कर लव के सामने खड़ा हो गया। उसने उसके सिर पर हाथ फेरा, "युवराज, तुम अपने साथ एक प्यारा सा जीव लेकर चलते हो।" वो हंसा।
"क्या...?" लव शरमाया।
"तुम सही कह रहे हो, यह स्वर्णलोक का हिस्सा है लेकिन पहले ऐसा नहीं था। खाली समय में अपने राजकुमार से पूछना। मैं आपके राजकुमार के वंश की कड़वी सच्चाई को उगलने की स्थिति में नहीं हूं।" उसने मुस्कुराते हुए कहा और इंद्रजीत की ओर देखा।
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Updated 21 Episodes
Comments
Bhavneet Kaur
What about arjun? Is he fine?
2024-11-13
0
Re Creators
My day won't be complete without the next chapter. Please update soon!
2024-10-26
0