( इतना कहकर उर्वशी संभाल के उन सीढ़ियों से नीचे उतरने लगी बाहर पहुंचकर उर्वशी कुछ दूरी तक पैदल चली दरअसल पैसों की कमी होने के कारण उर्वशी रोज 2 किलोमीटर पैदल चल कॉलेज जाती थी । उर्वशी वहां पर अकेले रहती थी इसलिए किसी को इस चीज के बारे में खबर नहीं थी । दरअसल उर्वशी ने अपने सपने पूरे करने के लिए बहुत मेहनत की थी और जब वह आज इस कॉलेज में थी तो वह किसी के ऊपर बोझ नहीं बनना चाहती थी इसलिए उसने पीजी में रहना ज्यादा बेहतर समझा रास्ते में जब वो घर जा रही थी। तब उसने एक बड़े काले रंग की गाड़ी एक छोटे से घर के बाहर खड़ी दिखी तभी घर के अंदर एक लंबा और हैंडसम लड़का आया उसके बाल बहुत सुंदर उसकी आंखों में एक चमक थी उसके कपड़े बहुत महंगे थे । उर्वशी ने उस लड़के को देखते ही पहचान लिया और उसके पास जाते हुए कहा । )
उर्वशी : ( उत्सुकता से ) सुपरस्टार डाविड देसाई मुझे यकीन नहीं हो रहा क्या यह आप ही है ? सुपरस्टार डाविड देसाई !
डाविड : हां मैं ही डाविड हूं ।
उर्वशी : ( उत्सुकता से ) मुझे यकीन नहीं हो रहा आप मेरे सामने खड़े हैं क्या मैं आपके साथ एक फोटो ले सकती हूं ?
डाविड : ( अजीब तरीके से मुस्कुराते हुए ) हां बिल्कुल !
( उर्वशी ने अपना फोन निकाला और डाविड के साथ फोटो खिंचवाई जिसके बाद गाड़ी के अंदर से आवाज आई । )
आवाज : सर हम लेट हो रहे हैं जल्दी कीजिए !
डाविड : माफ करना मुझे जाना होगा ।
उर्वशी : कोई बात नहीं मैं आपसे मिल पाई मेरे लिए बहुत बड़ी बात है ।
डाविड : तुम कहां जा रही हो?उर्वशी:कुछ नहीं बस अपने घर तक ।
डाविड : तो फिर चलो मैं तुम्हें ड्रॉप करवा देता हूं ।
उर्वशी : नहीं - नहीं आपने मुझसे पूछा यही मेरे लिए बहुत बड़ी बात है धन्यवाद ।
डाविड : अब मेरी इतनी बड़ी फैन हो तो इतना तो मैं तुम्हारे लिए कर ही सकता हूं आओ अंदर बैठो !
( डाविड ने उर्वशी के लिए दरवाजा खोला उर्वशी ने अंदर बैठते हुए कहा । )
उर्वशी : थैंक यू !
( डाविड सड़क की दूसरी तरफ से गाड़ी में बैठ गया और उसने ड्राइवर से कहा । )
डाविड : पहले आप उनके घर चलिए उसके बाद शूटिंग की लोकेशन पर चल पढ़िएगा ।
ड्राइवर : जी सर ।
( ड्राइवर ने गाड़ी चलाना शुरु किया तभी डाविड ने अपना हाथ अपने माथे पर रखते हुए मन में कहा । )
डाविड : ( मन में ) यकीन नहीं हो रहा यह भी !
उर्वशी : डाविड माफ कीजिएगा डाविड सर ।
डाविड : तुम मुझे डाविड बुला सकती हो मैं तुम्हारा दोस्त ही हो ।
उर्वशी : यकीन नहीं हो रहा इतने बड़े सुपरस्टार होने के बावजूद भी आप मुझे इस तरह से बात कर रहे हैं ।
डाविड : तो क्या हो गया मैं तुम लोगों की वजह से ही तो सुपरस्टार हूं तुम कुछ कह रही थी ?
उर्वशी : हां माफ करना वो अगर आपके पास समय हो तो आप मेरे घर चलिए ना ।
डाविड : नहीं प्रस्ताव देने के लिए धन्यवाद लेकिन अभी मेरे पास समय नहीं है जैसे ही मेरे पास समय होगा मैं जरूर आना पसंद करूंगा ।
उर्वशी : बहुत-बहुत धन्यवाद लेकिन क्या मैं आपसे एक सवाल पूछ सकती हूं ?
डाविड : मैंने अभी-अभी कहा ना तुम मेरी दोस्त हो पूछो क्या पूछना चाहती हो ?
उर्वशी : आप इस शहर में क्या कर रहे हैं मतलब आपको तो इस वक्त मुंबई में होना चाहिए ।
डाविड : मैं यहां पर अपनी पढ़ाई पूरी करने आया हूं मैं यहां पर लगभग 5 साल तक रहूंगा ।
उर्वशी : फिर आपकी शूटिंग उसका क्या उसके लिए तो आपको इधर-उधर जाना पड़ता होगा ना ?
डाविड : हां बिल्कुल उसके लिए मेरा प्राइवेट हेलीकॉप्टर है जिसकी मदद से मैं जब चाहूं वहां पर जा सकता हूं और वैसे भी कॉलेज में हूं तो कोई दिक्कत नहीं आएगी कभी भी छुट्टी ले सकता हूं ।
उर्वशी : वाव आप कितने कमल के हैं काम और पढ़ाई दोनों एक साथ कैसे संभाल सकते हैं ?
डाविड : अगर किसी चीज के बारे में ठान लिया जाए तो उसे करना मुश्किल नहीं होता ।
उर्वशी : अभी तक तो आप मेरे लिए केवल एक सुपर हीरो थे लेकिन अब आप मेरे लिए एक इंस्पिरेशन भी बन गए मैं भी आप ही की तरह काम संभालना सीखूंगी।
डाविड : बहुत अच्छी बात है मैं तुम्हारी सफलता का इंतजार करूंगा और हां सफल होने के बाद मुझे मत भूल जाना ।
उर्वशी : बिल्कुल भी नहीं कैसी बातें कर रहे हैं आप मैं आपको कैसे भूल सकती हूं
डाविड : लोग भूल जाते हैं तो मैं तो तुमसे एक ही बार मिल रहा हूं ।
उर्वशी : बिल्कुल नहीं लोग मुझे भूल जाते हैं लेकिन मैं लोगों को नहीं भूलती ।
( तभी ड्राइवर ने गाड़ी रोकी और कहा । )
ड्राइवर : सर मैंम आपके द्वारा बताया गया एड्रेस आ गया ।
( उर्वशी ने दरवाजे को पकड़ते हुए कहा । )
उर्वशी : धन्यवाद डेविड उम्मीद है हमारी फिर से मुलाकात हो ।
डाविड : बिल्कुल मुझे भी इंतजार रहेगा ।
( इतना कहकर उर्वशी गाड़ी से उतर गई और ड्राइवर ने गाड़ी को आगे बढ़ा ली । उर्वशी अपने घर चली गई दरअसल उर्वशी पीजी में रह रही थी इसीलिए उसका घर पहली मंजिल पर था । उर्वशी का घर बहुत बड़ा नहीं था उसने जैसे ही दरवाजा खोला तो एक छोटा सा कॉरिडोर बना हुआ था जिसमें एक दरवाजा था और अंदर जाने पर एक कमरा जिसमें एक छोटी सी दीवान पड़ी थी और उसके सामने ही किचन थी । उर्वशी ने जल्दी से अपने कपड़े बदले और किचन में खाना बनाने चली गई खाना खाने के बाद उर्वशी अपने बिस्तर पर लेट गई । उर्वशी लेटी ही थी कि तभी उसके घर की घंटी बजी जब उसने दरवाजा खोला तो एक छोटा बच्चा जो कि ज्यादा बड़ा नहीं लग रहा था । लगभग 5 या 6 साल का जो की पहली या दूसरी कक्षा में ही होगा वह आया तभी उर्वशी ने कहा । )
उर्वशी : ( प्यार से ) आओ रोए बाकी सब कहां है ?
रोए : बाकी सब देर लगा रहे थे इसलिए मैं उन्हें छोड़कर पहले ही आ गया ।
उर्वशी : अच्छा किया मैं भी तुम्हारा ही इंतजार कर रही थी ।
( तभी रोए अंदर आया और उर्वशी ने दरवाजा खुला ही छोड़ दिया । कुछ देर बाद दो लड़कियां और एक लड़का भी अंदर आए तभी उर्वशी ने कहा । )
उर्वशी : समय पर आया करो !
( दरअसल उर्वशी अपना घर चलाने के लिए बच्चों को पढ़ती थी । कॉलेज के बाद यह सब करना बहुत मुश्किल था लेकिन उर्वशी को यह सब करना बहुत अच्छा लगता था क्योंकि वह अकेली रहती थी या कुछ समय भी अपने साथ बिताए तो उसे अच्छा नहीं लगता था ।
क्या करने वाली है उर्वशी ?
रौनक कहां है और कहां से आया था
?
क्या है रौनक का सच ?
जानने के लिए पढ़िए" दोस्ती से प्यार तक"
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